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- १५:२८, २३ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२८२ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'लोमस की ऐसी आयु होय कौन हू उपाय तापर कवच जो करनवारो धरिये । ताहू पर हूजिये सहसबाहु, तापर सहसगुनो साहस जो भीमहु ते करिये ॥ भूषन कहैं। यो अवरंगजू सों उमराव नाहक कहौ तौ जा...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १५:१४, २३ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२८० पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'ऐसे बाजिराज देत महाराज सिवराज भूषनं जे बाज की समाजै' निदरतहैं। पौन पाय हीन, दूग घूँघट मैं लीन, मीन जल मैं बिलीन क्यों बराबरी करत हैं ।। सब ते बलाक चिन्त तैऊ कुलि भालम के...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०२:४१, २२ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४३ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'पीथल पली टमुक्कियाँ बहुली लागी खोड़ मरवण मत्तगयंद ज्यों ऊभी मुक्ख मरोड़ ॥ यह सुना कर चम्पादे ने पृथ्वीराज के मन की ग्लानि मिटाने के लिये कहा --- {{poem begin}}<poem> प्यारी कहे पीथ...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १५:३९, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२३२ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'बौधियत कैशोदास, मारिबे के नाते सौ दखि मारियतु है। राजा रामचन्द्र जूके नाम जग जीतियतु, हारिये के नाते आन जन्म हारियतु है ॥ <center>{{xxx-larger|२४}}</center> कुटिल कटाक्ष कठोर कुच एकै दुः...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १५:१४, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२३१ पृष्ठ बनाया (अशोधित: '<center>{{xxx-larger|१९}}</center> पाँइ परै मनुहार करें पलका पर पाँइ धरै भय भीने । सोह गई कहि केशव कैसहू कोर करोरहू सौंहन कोने ॥ साहस मुख सों मुख 'इ' छिन में हरिमान महा सुख लीनें । एक उसासही...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १४:५९, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२३० पृष्ठ बनाया (अशोधित: '<center>{{xxx-larger|१५}}</center> भूत की मिठाई कैसी साधु की झुठाई जैसी स्यार की ढिठाई ऐसी छीरा छहू ऋतु है। धीरा कैसो हास केसीदास दासी कैसा सुख सूर की सी सङ्क अङ्क रङ्क कैसा वितु है ॥ सुम क...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ११:३२, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२२८ पृष्ठ बनाया (अशोधित: '<center>{{xxx-larger|६}}</center> "डित पुत्र, सुधी पतिनी जु पतिव्रत प्रेम परायण भारी । जाने सबै गुण, मानै सबै जग, दान विधान दया उर धारी । केशव रोगनहीं सो वियोग, संयोग सुभोगन तो सुखकारी । सच क...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०९:४४, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२२७ पृष्ठ बनाया (अशोधित: '<center>{{xxx-larger|१}}</center> विप्र न मैगी कीजिये मूढ न कीजे मिन्त । प्रभु न कृतघ्नी सेइये दूषण सहित कवित्त ॥ <center>{{xxx-larger|२}}</center> धीरज मोचन लोचन लोल विलोकि कै लोककी लीकति छूटी । फूट गये श्रु...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०६:५४, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१९४ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'दलहि चलत हलहलत भूमि थल थल जिमि चल दल | पल पल खल खलभलत बिकल बाला कर कुल कल | जब पदध्वनि युद्ध धुंधु धुदु्व धुदु्व हुव अरर अरर फटि दरकि गिरत धसमसति धुकन धुद्ध भनि गंग प्रबल...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०२:२५, २१ जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२८१ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'एक संग छूट्यो सुख रुचि मुख रुचि त्योंही बिन रंग ही । भूषन बखाने सिवराज मरदाने तेरी धाक बिललाने न गहत बल अंगही । दक्खिन के सूबा पाय दिल्ली के अमीर तजै उत्तर की आस जीव आस...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १८:१२, २० जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२७९ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'जैसे स्वाभाविक वीर थे, वैसे भूषण भी सोने में सुगंध हो गये । कविता द्वारा जितना सम्मान भूषण को मिला, उतना हिन्दी के किसी कवि को नहीं मिला । भूषण का जन्म अनुमान से सं० १६७...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १७:२८, २० जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२०८ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'वेई सुरतरु प्रफुलित फुलवारिन में, वेई सुरवर हंस बोलन हिलन को । वेई हेम हिरन दिशान दहलीजन में, बेई गजराज हय गरज गिलन को ॥ द्वार द्वार छड़ी लिये द्वार पौरिया जो खड़े, बोल...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ११:०७, २० जुलाई २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/४०६ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'जौनपुर नगर से २४ मील पश्चिम सिंगरामऊ. एक गाँव है। वह एक रियासत का मुख्य स्थान है । रियासत न तो बहुत बड़ी ही है और न बहुत साधारण ही हैं। आज से लगभग सवा सौ वर्ष पहले वहाँ ठा...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १४:३२, ३० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२०६ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'शोक भयो सुरनायक के जब दूसरी बार लयेो भरि झोको । मेरु डरै बकसै जिन मोहि कुबेर चबावत चामर चोंको ॥२५॥ हूल हियरामें कान कानन परी है ढेर भेटत सुदामैं श्याम बनै न अघातही।कह...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १२:५१, ३० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२०२ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'नरोत्तमदास कस्बा बाड़ी जिला सीतापुर के रहने वाले ब्राह्मण थे। शिवसिंह सरोज में सं० १६०२ में इनका होना लिखा है । ये अच्छे कवि थे। इनके लिखे "सुदामा चरित" के कुछ उत्तम प...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १२:३१, ३० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१९६ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'होई" इस कहावत अनुसार हमें इनका गुण ही देखना चाहिये । गुण की कोई जाति नहीं है। जाति चाहे ऊँच हो या नीच, गुण का आदर सर्वत्र होगा । दादूदयाल का गुरु कौन था, इसका भी ठीक ठीक प...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १७:४७, २७ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४७ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'चिबुक कूप में मन पसो छवि अल तृषा विचारि । कढत मुबारक ताहि तिय अलक डोर सी डारि ।। ५ ।। तिल वर्णन सब जग पेरत तिलन को थक्यो चित यह हेरि तव कपोल को एक...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०६:०८, २० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४९ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'नीलकंठ दीक्षित अवस्थी हैं चकोर चारु, चक्रवाक दुबे गुरु सुख शुभ साथ के । येते झिज जाने रङ्ग रडंग् के मैं आने, देस देस में बखाने चिरोबाने हरिनाथ के ।। प्रवीणाराय...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १८:२६, १९ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२९७ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' गड़ जात बाजी औ गयन्द गन अड़ि जात सुतुर अकड़ि जात मुसकिल गऊ की। दावन उठाय पाय धोखे ओ धरत होत आप गरकाप रहिजात पाग मऊ की। बेनी कवि कहें देखि थर थर काँपे गात रथन के पथ ना वि...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- १८:१८, १९ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२९५ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' *बेनी नाम के दो तोनं कषि ही गये हैं। एके बेनी असनी के बन्दीजन थे । उनका समय सें०। १६६० के आप पास कहा जाता है। वे दिल्लगी की कविताएं बनाने में बड़े नि...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- १८:००, १९ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/४३७ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'को । प्राणनाथ सरस सभा न सोह्रै कवि बिन विद्या विन बात न नगर बिन नद को ॥ ४ ॥ केते भये यादव सगर सुत केते भये जातहू न जाने ज्यों तरैया परभात की। बलि बेनु अंबरीष मानधाता प्रह...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- १०:२३, १६ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४५ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'कौन भरोसा देह का छाड़डु जतन उपाइ। कागद की जस पूतरी पानि परे धुलि जाइ ॥ २ ॥ तब लडु सहिये बिरह दुख जब लागि आव सो वार दुःख गये तब सुक्ख है जानै सब संसार।...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०५:०४, १६ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४१ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ''रोजायताँ तर्णे नवरोजै जेथ मुसाणा जणे अण । हिन्दू नाथ दिलीचे हाटे पतो न खरचै क्षत्री पण॥ परपंच लाज दीठ नह व्यापण खोटो लाभ अलाभ खरो । रज बेचबाँ न आवे राणो हाटे मोर हमीर...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- १४:१४, १५ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२३७ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'हे माता ! तू ऐसा पुत्र उत्पन्न कर, जैसा राणा प्रताप है । जिसको अकबर, सिरहानेका साँप जानकर सोता हुआ चौंक उठता है । अइरे अकबरियाह तेज तुहाले तुरकड़ा | नम नम ननीसरियाह राण...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- १६:०६, १४ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४० पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' राणा प्रताप सिर पर भाला सहेगा, क्योंकि बराबर वाले का यश विष के समान होता है । हे भट पृथ्वीराज, आप तुरुक से बातों के युद्ध में विजय पावें । अकबर के साथ विवाद होने का पता ज...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०७:३१, १४ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२३४ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'पाहन हौं तो वही गिरि को जो धरयो कर छत्र पुरन्दर धारन। जौखगहौतौबसेरो करौमिलि कालिंदी कूलकदम्ब कीडारन ॥ १ ॥ या लकुटी अरु कामरिया पर राज सिहूं पुर को तजि डारौं । आठहु सि...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०७:१८, १४ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२३५ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'पृथ्वीराज बीकानेर के राजा राजसिंह के भाई थे, और अकबर के दरबार में रहा करते थे । कहा जाता है कि इन्हीं की रानी किर- णमयी अत्यंत सुन्दरी थी, जिसे नवरोज के अवसर पर अकबर ने...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०५:२८, १३ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२११ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'दिये । इस अवसर पर इन्होंने यह दोहा रीवा नरेश को सुनाया था- चित्रकूट में रमि रहे रहिमन अवधनरेश । जापर विपदा परति है सो आवत यहि देश | गोसाई तुलसीदास जी से भी इनका परिचय था...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०३:२५, १३ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२४४ पृष्ठ बनाया (अशोधित: 'गुदाम बनाया था, और सन् १६१३ का रखा हुआ यह ग्रन्थ है। गाजीपुर ऐसे छोटे नगर में रहकर अंगरेजों के विषय में इतनी जानकारी रखना कवि के लिये साधारण बात नहीं है । हम यहाँ का० ना...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- १५:५९, १० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१९३ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' बान बधि बधिक बधे को खोज लेत फेरि बधिक बधू ना खोज लीन्ही फेरि बधि कै॥१०॥ मालती शकुंतला सी को है कामकंदला सी हाजिर हजार चारु नदी नौल नागरे । ऐल फैल फिरत खवास खास आस...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०८:३४, १० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२०५ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' लोचन पूरि रहे जल सो प्रभु दूरते देखतही दुख मेट्यो । सोच भयो सुरनायक के कलपडुम के हिय माँझ खखेट्यो | काँपि कुबेर हिये सर से पग जात सुमेरहु रंक से सेट्यो । राज भयो तबही...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०६:३२, १० जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१९५ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' जाको जस है जगन मैं जगत सराहे जाहि । ताको जीवन सफल है करन अब्बर साहि ॥ १ ॥ साहि अकबर एक समैं चने कान्ड बिनोद बिलोकन बालहिं । आहट से अबला निरख्यो चकिचौकि चलीकरिआतुर व...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन
- ०९:५८, ९ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/२२३ पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' १६८ कविता कौमुदी जल मदमातल हथिया हुमकत जाति । चितवति जात तरुनियाँ मन मुसुकाति ॥ ६ ॥ खीन मलिन विश्रभैया औगुन तीन । मोहि कहत बिधुबदनी पिय मतिहीन ॥ १० ॥ ते अ...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०७:२८, ९ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१९० पृष्ठ बनाया (अशोधित: ' _गंग_ १३५ बैठी थी सखिन संग पिय को गवन सुन्यो सुख के समूह में वियोग आग भरकी । गंग कहें 'त्रिविध सुगंध लै पवन बह्यां लागतही ताके तन...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १५:०५, ८ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१७८ पृष्ठ बनाया (अशोधित: '{{rh१२३।।मीराबाई।}} मेरे मात पिता के सम हो हरि भक्तन सुखदाई | हमको कहा उचित करिबो है से लिखियो समुझाई ॥ इसके उत्तर में तुलसी दास ने यह लिख भेजा:-- जाके प...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- १३:४२, ८ जून २०२४ Yadav surendra वार्ता योगदान ने पृष्ठ:कविता-कौमुदी 1.pdf/१७१ पृष्ठ बनाया (अशोधित: '११६ कविता कौमुदी २ जागिये कृपा निधान जानिराय रामचंद्र जननि कहै बारबार भोर भयो प्यारे । राजिव लोचन बिस...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) टैग: शोधित नहीं
- ०९:१३, १ जून २०२४ सदस्य खाता Yadav surendra वार्ता योगदान बनाया गया टैग: मोबाइल संपादन मोबाइल वेब संपादन