सरदार पूर्णसिंह अध्यापक के निबन्ध

सरदार पूर्णसिंह अध्यापक के निबन्ध  (1958) 
पूर्णसिंह, संपादक प्रभात शास्त्री

इलाहाबाद: कौशाम्बी प्रकाशन, पृष्ठ १ से – ४ तक

 

सरदार पूर्णसिंह अध्यापक के
निबन्ध

 

सम्पादक
प्रभात शास्त्री
साहितयाचार्य, साहित्यरत्न

 

भूमिका-लेखक
डा० हरवंशलाल शर्मा, एम्॰ ए॰, पीएच्॰ डी॰, डी॰ लिट्॰
अध्यक्ष, हिन्दी-संस्कृत-विभाग
मुस्लिम यूनिवर्सिटी, अलीगढ़

प्रकाशक :

कौशाम्बी-प्रकाशन
दारागंज, इलाहाबाद

 

मूल्य——दो रुपये
संवत २०१५ वि॰
 

मुद्रक :
सरयू प्रसाद पांडेय
नागरी प्रेस, दारागंज, इलाहाबाद
 

पूज्य पिता
पण्डित गङ्गाप्रसाद जी मिश्र
को
श्रद्धासमेत

 
क्रम
जीवनी––निबन्धकार एवं कवि पूर्णसिंह ५––२६
भूमिका २७––४९
निबन्ध ५०––१५४
परिशिष्ट १५५––१६०

यह कार्य भारत में सार्वजनिक डोमेन है क्योंकि यह भारत में निर्मित हुआ है और इसकी कॉपीराइट की अवधि समाप्त हो चुकी है। भारत के कॉपीराइट अधिनियम, 1957 के अनुसार लेखक की मृत्यु के पश्चात् के वर्ष (अर्थात् वर्ष 2024 के अनुसार, 1 जनवरी 1964 से पूर्व के) से गणना करके साठ वर्ष पूर्ण होने पर सभी दस्तावेज सार्वजनिक प्रभावक्षेत्र में आ जाते हैं।


यह कार्य संयुक्त राज्य अमेरिका में भी सार्वजनिक डोमेन में है क्योंकि यह भारत में 1996 में सार्वजनिक प्रभावक्षेत्र में आया था और संयुक्त राज्य अमेरिका में इसका कोई कॉपीराइट पंजीकरण नहीं है (यह भारत के वर्ष 1928 में बर्न समझौते में शामिल होने और 17 यूएससी 104ए की महत्त्वपूर्ण तिथि जनवरी 1, 1996 का संयुक्त प्रभाव है।