पृष्ठ:हिन्दी विश्वकोष भाग 1.djvu/१६

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पशोपेश। रोति, जुल्म। १४ अंदेशा-अंबार वह पैर इधर-उधर चलाता, त्योंही कांटा चुभने अंधेरखाता (हिं. पु०) १ व्यवहारका गड़बड़। लगता है। २ कुप्रबन्ध। अंदेशा (फा० पु०) १ चिन्ता, फिक्र । २ संशय, शक। अँधेरना (हिं. क्रि०) अँधेर उठाना, गड़बड़ मचाना, ३ भय, खौफ। ४ हानि, नुकसान। ५ असुविधा। अधेरा करना। अँधेरा (हिं० पु०) अन्धकार. तारीको। अंदोर (हिं० पु.) कोलाहल, शोरग ल । अँधेरिया (हिं. स्त्री०) १ अन्धकार। २ कालो अंदोह (फा० पु.) १ शोक, रञ्ज । २ सन्देह,खटका। रात। ३ घोड़े या बैल की आंख पर डालने का पट्टा । अंद्रससत्र (हिं० पु.) इन्द्रशस्त्र, वज। अंधेरी (हिं. स्त्रो०) अन्धकार, तारीको। अंधखोपड़ा (हिं० पु.) मूर्ख, नादान, जिसे अँधोटो (हिं० स्त्री० ) बेल या घोड़े को आंख पर समझ न पड़े। (स्त्री० ) अंधखोपड़ी। बांधने की पट्टी। अंधड़ (हिं० पु०) आंधी, तूफान, जिस हवासे धूलि उड़े। अँध्यार (हिं०) अन्धकार देखो। अंधधंध (हिं. पु०) १ अन्धकार, तारोको । २ अन- अँध्यारो, अधियारी देखी। अंबरबारी (हिं० स्त्री०) वृक्षविशेष, कोई झाड़ी। अधबाई (हिं. स्त्री०) अधड़ देखो। यह हिमालय और नीलगिरिपर उत्पन्न होती है। अंधरा (हिं० वि०) अन्ध, नेत्रहीन, चक्षुहीन, नाबीना। इसकी जड़से जो बढ़िया और पीला रङ्ग निकालें, उसे अँधरी (हिं. स्त्री.) १ अधौ, जिस औरतको देख कभी-कभी चमड़ेपर भी चढ़ायेंगे। वोजका तेल न पड़े। २ पहियोंको गोलाई पूरी करने वाली खींचते हैं। इसको लकड़ी दारुहलदो कहाती और धनुषाकार चूल। यह दूसरी पुट्ठोके भीतर ऐसो औषधमें डाली जाती है। जड़ और लकड़ीके घुसी रहती है, कि दिखाई नहीं देती। अर्क को रसौत कहेंगे। अंधा (हिं०) अन्ध देखो। अबरबेल (हिं. स्त्री.) अमरवेलि, इफ़तोमून्, पबेर । अंधाधुंध (हिं. पु०) १घोर अन्धकार, गहरी तारीको। यह धाग-जैसी पौली-पीली होती और पेड़से लपटो २ अविचार, खयालको ख़राबी। (वि०) ३ विशृङ्खल, रहती है। इसमें जड़ या पत्ती किसीका नाम भी बठिकाना। (क्रि.वि.) ४ निहायत, अतिशय । नहीं पाते। इसके फैलनेसे पेड़ सूख जायेगा। यह अँधार (हि.पु.) १ अन्धकार, तारीको। २ रस्मोके बाल बढ़ानेको दवामें पड़ती है। हकीम इसे वायु- जिस जालमें घास वगैरह भरकर बैलपर लादें। रोगपर भी व्यवहार करेंगे। अँधारी (हिं. स्त्री०) अधड़ देखो। अंबरसारी (हि. स्त्री०) एक प्रकारका कर। यह पहले अँधियार (हिं० पु०) अन्धकार, तारोको। (वि०) घर पर लगायी जाती थी। २ तमसाच्छन्न, रोशनीसे खाली। अँबराई (हिं. स्त्री०) जिस जगह आमके पेड़ अँधियारा, अधियार देखो। बहुत हों, आसका बाग, नौरंगा। अँधियारी कोठरी (हिं. स्त्री०) १ अँधेरा छोटा अँबराव (हिं० पु०) आमका बाम्। पामराजी देखो। कमरा। २ उदर, पेट । ३ कहारोंको कोई बोली। अंबरौसक (हिं० पु०) भाड़, भरसायं। पालकौके आगेवाला कहार जब पानी या गड्ढा अबलो (हिं• पु०) गुजरातके ढोलेरा नामक स्थानमें देखता, तब पोछेवाले कहारको “अँधियारी कोठरी" उत्पन्न होनेवाला कपास । कह कर सावधान करता है। अँबाड़ा, भामड़ा देखो। अंधेर (हिं. पु.) १ अन्याय, अविचार, अत्याचार। अंबापोली (हिं. स्त्री०) अमावट, अमरस । २ कुप्रबन्ध, बदइन्तिजारी। अंबार (फा० पु.) ढेर, समूह, राशि ।