के अच्छे गुण होते हैं तब हानि होने की कम सम्भावना होती है; क्योंकि ऐसे प्रसङ्ग पर एक दूसरे को सुधार कर मार्ग पर ला सकते हैं। एक दूसरे में जो भले गुण होते हैं उन्हें सम्पादन कर लेने की दोनों की इच्छा होती है और इसके लिए दोनों प्रयत्नशील रहते हैं। यह दशा होजाने पर, एक दूसरे का लाभ विरुद्ध होने की अपेक्षा उलटा एक हो जाता है; और इससे एक दूसरे को अधिक क़ीमती समझते हैं। किन्तु जब एक व्यक्ति मानसिक शक्ति और सुधार में दूसरे से कम होता है, और वह कोशिश करके सब बातों में उसके बराबर नहीं पहुँचता—तो ऐसे दो व्यक्तियों में जो ऊँचा होगा उसके गले का बोझ दूसरा व्यक्ति बन जायगा। मूर्ख और निर्बुद्धि स्त्री के सहवास में रहने वाले पुरुष की बुद्धि सुधरने के बदले दिन प्रति दिन घटती जायगी; और विशेष करके जो दम्पति सुखी निकले हैं उनके विषय में यह बात और भी अधिक घटती है। ऊँची प्रतिभा वाला पुरुष यदि कम अक्ल वाले मूर्खो में बैठना-उठना पसन्द करता हो तो उनकी सङ्गति का ही उसकी बुद्धि पर कुछ न कुछ फल हुए बिना नहीं रहता। जिस सङ्गति में मनुष्य को सुधारने का गुण नहीं होता वह उसे बिगाड़ती ज़रूर है—और उसका वह सहवास जितना ही अधिक दृढ़ होता है उतना ही उसके बिगाड़ने का अवगुण भी अधिक शक्तिशाली होता है। यदि एक अच्छे आदमी को अपने बराबर वालों पर अधिकार
पृष्ठ:स्त्रियों की पराधीनता.djvu/२९४
यह पृष्ठ प्रमाणित है।
( २७५ )