पृष्ठ:संगीत विशारद.djvu/६३

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  • सङ्गीत विशारद *

पूर्वार्ध उत्तरार्ध धु ध an arm ३-सा रे ३-4 ध नि सा | ४-सा रे ग म ४-प ध नि सा ५-सा रे ग म ५-4 ध नि सा ६-सा ग ग म ६-4 नि नि सा उपरोक्त प्रभारी के अलावा और कोई नवीन प्रकार का मेल इन स्वरों से नहीं बन सकता। अब इन दोनों को आपस में मिलाया गया तो ६x६-३६ थाट बने, जो निम्नलिखित हैं पूर्वार्ध और उत्तरार्ध के ३६ थाट सा सा सा सा सा सा " १-सा रे रे म प ध ध सा | ७-सा रे ग म प ध ध २-सा रे रे म प व नि सा -मा रे ग म प ध नि ३-सा रे रे म प ध नि सा -सा रे ग म प नि ४-सा रे रे म प ध नि सा १०-सा रे ग म प ध नि ५-सा रे रे म प ध नि सा ११-सा रे ग म प ध नि ६- सा रे रे म प नि नि सा । १२-सा रे ग म प नि नि ( ४ ) १३-सा रे ग म प ध य सा ! १६-सा रे ग म प ध १४-सा रे ग म प नि सा ००-सा रे ग म प ध नि १५-सा रे ग म प धु सा | २१-मा रे ग म प ध नि १६-सा रे ग म प प नि सा0-सा रे ग म प ध नि १७-सा रे ग म ध नि सा | २३-सा रे ग म प ध नि १८-सा रे ग म प नि नि सा | २४-सा रे ग म प नि नि Pa सा सा सा सा सा सा