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भूपाली
- इस राग में पांच स्वर होते हैं इसमें 'म' और 'नी' यह
दो स्वर नहीं लगाये जाते
- इस राग में सब स्वर शुद्ध लगते हैं।
- इस राग का वादी स्वर 'ग' है।
- इस राग का संवादी स्वर "ध" है।
- इस राग के गाने बजाने का समय रात्रि का प्रथम पहर है।
- आरोही = स रे ग प ध सं
- अवरोही = सं ध प ग रे स
- पकड़ = ग रे स ͎ध, स रे ग प ग ध प ग रे म
( ताल तीन मात्रा १६ )
समतालीखालीताली
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अन्तरा
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