परिवर्तन की इसनी शीव आवश्यकता मेरी समझ में नहीं प्रतीत होती। मेरी समझ में अभी मुनिसिपल और जिला बोंडों में ही निर्वाचन का अधिकार दे देना पर्याप्त होगा।
कांग्रेस का नर्वा अधिवेशन लाहोर में हुआ। उस अधिवेशन में भी कौंसिल के प्रश्नपर विचार हुआ। कांग्रेस ने एक मत होकर सिफा- रिश की कि भारत सरकार के व्यवसापकीय काननों में तथा प्रान्तीय सरकार के व्यवहारिक नियमों में घोर परिवर्तन की नितान्त आवश्यकता है। इसके अतिरिक्त कांग्रेस ने इस बात पर खेद प्रकाशित किया कि पंजाब को अभी तक व्यवस्थापक सभा में प्रवेश करने का अधिकार नहीं मिला है और न तो प्रान्तीय व्यवस्थापक सभा की ही स्थापना की गई है।" लाहोर कांग्रेस की बैठक के चार वर्ष बाद पंजाब को भी प्रान्तीय व्यवस्थापक सभा का प्रसाद मिला पर दो बातों की कमी थी। एक तो सदस्यों को किसी तरह के प्रश्न पूछने के अधिकार नहीं थे और दूसरे कौंसिल के सदस्यों के निर्वाचन में अन्य प्रान्तों की भांति प्रजा का कोई हाथ नहीं था।
ज्यों ज्यों देश में जागृति होती गई सरकार को आशंका बढ़ती गई और उसकी बाढ़ को रोकने के लिये उसने पुलिस की शक्ति बड़ाना आरम्भ किया। इस समय तक नौकरशाही ने कुछ प्रान्तों में इस तरह की सख्ती को योजना कर दी थी कि १८६७ में