पृष्ठ:परमार्थ-सोपान.pdf/३९५

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Padas 8-12 ] = Pilgrimage 11 हिन्दू जुलाहा । (f. would be कोरिन ) कोरी ( . . ) साल = छेद, सूराख़ । घावर = घाव प्रेम प्राण - 45 protruberance, knots, unevenness. -- are the warp and woof of the garment. cf. ' ओतं च प्रोतं च 10 उपनिषद | रामदास । Also cf. ' प्रेम प्रीतीनें वांधावें तत्व तेल निज दीआ = - आत्मतत्वरूपी तेल का दीपक । राल = कपड़ा बुनने वालों का एक औजार, जिससे ताने का धागा ऊपर नीचे गिरता और उठता है । अन्तरगति = ताने वाने के बीच में आना जाना, अन्तर्भाव । There is अन्तरगति when you inhale the love of God and exhale it. राता ( From Sk. रक्त ) रंगा हुआ । ताना = कपड़े की बुनाई में लम्बाई के बल के सूत | वाना = भरती; आड़े में बुनावट में जाने वाला सृत । विचारा = नम्रता से सचेत लौ गहर = सावधान । = लक्ष्य | - 11 In an humble manuer. Thick, leaving no interstices. गजीना = उस बुनावट का गाढ़ा - Closely woven. For the idea in the poem, ef. "झीना झीनी वीनी चदरिया " - कबीर. Also of “प्रत्यक्ष परमात्मनेंबुव । उत्तमवाद पतिांवर नेदु । कृत्तिवास शिशुनाळधीशनिगे । मुट्टिसि मुक्ति पडियव्वा ॥ " Note: The first two lines contain an order and - the rest contain consequent action. 12 प्राण निकाले - कुछ योगी हृदय की क्रिया भी बन्द कर सकते हैं । उम्मर — Metrical for उम्र ( Arabic ) = अवस्था, वय ।