पृष्ठ:धर्म्म पुस्तक.pdf/३२५

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२५ पब्ब] ससे व्यभिचार करना प्रारंभ किया । की पुस्तक। २५ पचीमा पर्ज। दूसराएली सन्नौन में रहे और लोगों ने माअबियों की बेटियां २। उन्हों ने अपने देवनों के बलिदानों में उन लोगों को नेता दिया और लोगों ने खाया और उन के देवता को दंडवत् किई ॥ ३। और दूसराएल बअल फगर से मिले तब परमेश्वर का क्रोध मराएल पर भड़का। ४। और परमेश्वर ने मूसा से कहा कि लोगों के मारे प्रधानों को पकड़ और उन्हें परमेश्वर के आगे सूर्य के सन्मुख रांग दे जिस ते परमेश्वर के क्रोध का भड़कना इसराएल पर से टल जाय ॥ ५ । सेर मूसा ने इसराएल के न्यायियों से कहा कि तुम्म से हर एक अपने लोगों को जो बअल फगर से मिल गये थे मार डाला।। ६ । सो वहीं एक इसराएली अाया और अपने भाइयों के पास एक मिट्यानी स्त्री को मूमा और इसराएल के संतानों की सारी मंडली के साम्ने लाया और वे मंडली के तंव के द्वार पर बिलाप करते थे ॥ ७॥ और हारून याजक के बेटे इलिअज़र के बेटे फोनिहास ने यह देखा वुह मंडली में से उठा और वरही हाथ में लिई ॥ ८। और उम मनुष्य के पौछ तंबू में घुसा और उन दोनों को इसराएली पुरुष पर स्त्री के पेट को गोदा तब दूसराएल के संतानों में से मरी थम गई। <। वे जो उम मरी से मरे चौबीस सहस थे। १.। फिर परमेश्वर मूसा से कह के बाला॥ ११ । कि हारून याजक के बेटे इलिअजर के बेट फोनिहाम मे मेरे काप को इमराएल के संतानों पर से फेरा जब वुह उन में मेरे निमित्त चलित था जिसमें मैंने इसराएल के संतानों का अपने भल से भस्म न किया ।। १२। सेो कह कि देख मैं उसे अपने कुशल को बाचा देता हं॥ १३ । से। वह उस के और उस के पीछे उम के बंश के लिये होगा अधात् सनातन की याजकता की बाचा इस कारण कि यह अपने ईश्वर के लिये ञ्च लिन था और उस ने इमराएल के मंताने के लिये प्रायश्चित्त दिया॥ १४ । उस दूसराएलौ मन प्य का नाम जो उम मियानी स्त्री के साथ मारा गया जिमरो था सलू का बेटा जा समी अनियों के एक श्रेष्ट घर का अध्यक्ष था॥ १५ । और उस मियान।