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पश्चिम में कामोत्तेजना

हम एलिस[१] के नीचे दो और संक्षिप्त उद्धरण देकर इन्द्रिय-रोगों का विषय समाप्त कर देंगे:––

"उड रगिल्स ने अमरीका के सम्बन्ध में लिखा है (जैसा कि नोगरेध ने पहले न्यूयार्क के सम्बन्ध में लिखा था) कि युवा पुरुषों में ७५ से ८० प्रतिशत तक सूज़ाक पाया जाता है।"

इँगलेंड के सम्बन्ध में लिखा है कि:––

"इँगलैंड में कुछ वर्ष पूर्व नश्तर से लम्बन्ध रखनेवाले एक लेखक ने अपने अनुभवों और अनुसन्धानों के परिणाम स्वरूप लिखा था कि युवा पुरुषों में ७५ प्रतिशत ऐसे हैं जिन्हें एक बार सूज़ाक हुया था, ४० प्रतिशत ऐसे हैं जिन्हें दो बार सूज़ाक हुआ था और १५ प्रतिशत ऐसे हैं जिन्हें तीन या इससे भी अधिक बार सूज़ाक हुआ था।"

भारतवर्ष से इस सम्बन्ध में संसार को आशङ्का हो या न हो। परन्तु इतिहास से यह बात सिद्ध है कि योरप से उसके इन्द्रिय-रोग फैलाने के कारण संसार को आशंका है। आज भी योरप मूल जातियों में––जिन्हें यह सभ्य बनाने का दम भरता है––इन रोगों का प्रचार कर रहा है। और आज भी उसके पास इन रोगों का इतना बड़ा भाण्डार है कि उससे संसार को खतरा हो सकता है[२]

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  1. उसी पुस्तक से, पृष्ठ ३३०-३।
  2. संसार के लिए भयस्वरूप होने के सम्बन्ध में सोवियत रूस की जितनी निन्दा की गई है उतनी और किसी देश की नहीं की गई। निस्सन्देह रूस उनके हितों के लिए अवश्य भयप्रद है जो उसकी इस प्रकार निन्दा करते हैं। कुछ भी हो, एक बात की ओर ध्यान आकर्षित करना आवश्यक प्रतीत होता है। "गर्मी के रोग ने करीब करीब भयङ्कर प्लेग का रूप धारण कर लिया है। शहरों की इससे बुरी दशा तो है ही, कोई गाँव भी ऐसा नहीं है जो इससे अछूता बचा हो। इस वक्तव्य में तनिक भी अतिशयोक्ति नहीं है। यह मैंने डाक्टर शीमस्को (स्वास्थ्य के अध्यक्ष) से स्वयं मालूम किया है। और मैंने उन सरकारी विज्ञप्तियों का भी सहारा लिया है जो समय समय पर बोलशेविक समाचार-पत्रों में प्रकाशित होती रहती हैं। गर्मी की बीमारी बहुत बुरी तरह फैली हुई है। साधारण मनुष्य जितना सोच सकता है उससे भी बहुत अधिक। यहाँ हम देखते हैं कि १३ करोड मानवों का राष्ट्र रोग-ग्रस्त है। यह सोचने पर कि भावी सन्तति पर और अन्य सम्बन्धित जातियों पर इसका क्या भयङ्कर प्रभाव पड़ेगा दिल दहल उठता है।" देखिए पृष्ठ २३८, रूसी क्रान्ति १९१७-१६२६ लैंसलाट लाटन, मैकमिलन लिखित। यह वर्णन, यदि सत्य हो तो रूस को संसार के हित में भयप्रद कहना किसी अंश तक क्षम्य हो सकता है।

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