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खूनी औरत का


इकठ्ठे होने लगे और चराचर इम बात की सलाह आपस में करने लगे कि, क्योंकर हम-सब तुम्हें हथियावें ।' एक बात यहां पर और भी समझ लो,-वह यह है कि यद्यति इन जमात में सभी जात के लोग आ मिले हैं, पर हम सब आपस में इस तरह घी खिचड़ी की तरह मिल गए हैं कि जात-पांत का बखेड़ा हमलोगों ने उठा दिया है और हमला एक-साथ मिलकर खाते-पीते हैं। हमलोगों में मांस-मछली और दारू-शराब का भो 'पराध नहीं है। खैर, सुनती चलो । जब तुम्हारी मां मर गई, सम हमलोगों को घड़ी खुशी हुई और हमसभों में आपस में यह सलाह की कि, अब तुम्हारे पाप को किसी तरह से खपा डालना और तुमपर अपना कबजा करना चाहिए। किन्तु भगवान ने ऐसा कानक चना दिया कि हमलोग खून-खराबा करने से बच गए और तुम्हारे बाप ने आप ही मर कर हमलोगों का रास्ता साफ कर दिया ! बस, तुम्हारे बाप के मरते ही हमलोगों ने आपस में एक सलाह पक्की फर डाली। फिर तो हम चारों तुम्हारे हरवाहे तुम्हारे पापड को उठाकर ले गए और गङ्गा में डालकर लौट पड़े। उस समय तुम भी वहीं मिली थीं, पर बेहोश होकर वहीं गिर गई थीं। खैर, फिर तो हम चारों जने तुम्हें यहां उठा लाए और इसी चारपाई पर तुम्हें डाल कर इस घर से बाहर निकले । तुम्हारे तीन चरवाहों को तो जो कि मेरे मेल में नहीं आए थे, कुछ इधर उधर की समझा-बुझा कर मैने यहांसे टाल दिया और जब वे तीनो अपने अपने घर चले गए, तो हमलोगों ने हिरवा की मां को तुम्हारी चौकसी के लिये यहां बैठा दिया और तुम्हारे सारे घर की तलाशी लेनी शुरू की। थोड़ी ही देर में हमलोग तुम्हारे घर की मच चीज-धस्त उठा लेगए, पर जब उन सब चीजों को ठिकाने से रखकर लौटे तो तुम्हारे मकान के सदर दरवाजे पर हिरवा की माहुलसिया मिली। उसने हमलोगों से यों कहा कि, 'तुम सप